बहन को भाई आज उपहार प्रदान करें :–धर्माचार्य ओमप्रकाश पांडे अनिरुद्ध रामानुज दास
प्रतापगढ़ रामानुज आश्रम यम द्वितीया की बहुत-बहुत बधाई बहुत-बहुत मंगल कामनाएं भाई दूज पर जिसको यम द्वितीया कहते हैं। इस दिन भाई को बहन के घर जाकर बहन की पूजा करनी चाहिए और बहन को उपहार देकर उसके यहां भोजन करना चाहिए।
अतो यमद्वितीया सा प्रोक्ता लोके युधिष्ठिर,
अस्यां निजगृहे पार्थ न भोक्तव्यमतो बुधैः।
स्नेहेन भगिनीहस्ताद्भोक्तव्यं पुष्टिवर्द्धनम्”,
अतो यमद्वितीया सा प्रोक्ता लोके युधिष्ठिर।।
अस्यां निजगृहे पार्थ न भोक्तव्यमतो बुधैः।
स्नेहेन भगिनीहस्ताद्भोक्तव्यं पुष्टिवर्द्धनम्”।।
हे युधिष्ठिर, इसलिए यह यम-द्वतीया कहलाती है। इस दिन बुद्धिमान लोगों को अपने घर में भोजन नहीं करना चाहिए। वे स्नेह पूर्वक बहन के घर भोजन करे, जिससे उनकी वृद्धि होगी।
हेमाद्रि के चतुर्वर्ग चिन्तामणि में उद्धृत पंक्तियों के बाद मूल पुराण में भ्रातृ द्वतीया के दिन भाई के कर्तव्यों का विधान किया गया है।
भाई को चाहिए कि वह बहन को विधि विधानपूर्वक सोना, गहना, वस्त्र आदि आदरपूर्वक दे और सगी बहन के हाथ का दिया हुआ भोजन करे। सभी तिथियों में बहन के हाथ का भोजन पुष्टि देता है।
धर्माचार्य ओमप्रकाश पांडे अनिरुद्ध रामानुज दास रामानुज आश्रम संत रामानुज मार्ग शिवजीपुरम प्रतापगढ़