Mainpuri में Dimple Yadav के खिलाफ BJP ने किसे उतारा? | SP | UP Politics
“मैनपुरी में उम्मीदवारों के बीच रोचक राजनीतिक टक्कर।”
“जाति-यादव समीकरण और जनता के वोट में महत्वपूर्ण।”
नई दिल्ली: भारतीय लोकतंत्र में चुनाव देश की राजनीति में नए मोड़ और दिलचस्प राजनीतिक खेलों का निर्माण करते हैं। लोकसभा चुनाव 2024 के लिए भी राजनीतिक पार्टियां मतदाताओं को आकर्षित करने के लिए एड़ी-चोटी का जोर लगा रही हैं। इस चुनाव में उत्तर प्रदेश की मैनपुरी लोकसभा सीट भी एक महत्वपूर्ण केंद्र बन चुकी है। यहां आई दो बड़ी राजनीतिक टक्कर, जो राजनीतिक दरबार में अभी से चर्चा का विषय बन चुकी है।
उम्मीदवारों की परंपरा और चुनावी संघर्ष
मैनपुरी लोकसभा सीट पर समाजवादी पार्टी ने अपने उम्मीदवार के रूप में डिंपल यादव को चुनावी अखाड़े में उतारा है। डिंपल यादव मुलायम सिंह यादव की बहू और सपा प्रमुख अखिलेश यादव की पत्नी हैं। उनके खिलाफ भारतीय जनता पार्टी ने अपने दिग्गज नेता जयवीर सिंह ठाकुर को उतारा है। ठाकुर ने अपनी पूर्व जीत का सिद्धांत अपनाते हुए चुनावी अखाड़े में कदम रखा है।
मैनपुरी: राजनीतिक महत्व और जातिगत समीकरण
मैनपुरी लोकसभा सीट पर जातिगत समीकरण भी दिलचस्प है। यहां यादव समुदाय की संख्या सबसे ज्यादा है, जिसका झुकाव सपा की ओर रहता है। यादव वोटरों की संख्या 4.25 लाख से अधिक है। इसके बाद दूसरे नंबर पर शाक्य मतदाता है, जिनकी संख्या करीब 3.25 लाख है। तीसरे नंबर पर ब्राह्मण आते हैं, जो 1.20 लाख से अधिक हैं। लोधी वोटरों की भूमिका भी निर्णायक है, जिनकी तादाद एक लाख से अधिक है। मुस्लिम मतदाताओं की संख्या भी 50 से 60 हजार के बीच है।
मैनपुरी लोकसभा सीट पर हो रहा चुनाव राजनीतिक महत्व के साथ-साथ जातिगत संघर्ष का भी परिचय देता है। सपा और बीजेपी के बीच हो रही टक्कर इस सीट को और भी दिलचस्प बना रही है। क्या यादवों के गढ़ में ठाकुर जीत पाएंगे? या क्या 2019 के अमेठी जैसा हाल मैनपुरी में भी देखने को मिलेगा? इस रोचक चुनाव में किस ओर जाएगा जनता का वोट? यह सब चुनावी अभियान के दौरान हलचल का सबब बन रहा है।